SLIP (serial line internet protocol) in hindi :-
SLIP का पूरा नाम serial line internet protocol (सीरियल लाइन इन्टरनेट प्रोटोकॉल है).
SLIP एक इन्टरनेट प्रोटोकॉल है जिसके द्वारा यूजर कंप्यूटर modem का प्रयोग करके इन्टरनेट को एक्सेस कर सकते है.
इस protocol को 1984 में rick adams ने विकसित किया था.
इसे बनाने का प्रमुख उद्देश्य sun workstation को इन्टरनेट से connect करना था. इसे serial lines में simple कम्युनिकेशन करने के लिए डिजाईन किया गया था.
SLIP को RS-232 serial ports में प्रयोग किया जा सकता है. तथा यह asynchronous links को सपोर्ट करता है.
serial line internet protocol जो है वह error control की सुविधा नहीं देता है जिसके कारण यह अन्य protocols की तुलना में कम प्रचलित है अर्थात इसका प्रयोग बहुत कम किया जाता है.
इसके स्थान पर अब PPP (poin to point protocol) का प्रयोग किया जाता है.
SLIP का इस्तेमाल करने से पहले, हमें IP address की configuration को सेट करना पड़ता है.
serial line internet protocol एक बहुत ही सरल protocol है तथा इसे बहुत आसानी से प्रयोग किया जा सकता है. परन्तु इसकी प्रमुख कमियां निम्नलिखित हैं.
1- यह error detection तथा correction की सुविधा नहीं देता है।
2- वह नष्ट हो चुके डेटा पैकेट्स को recovery नहीं करता है.
3- यह केवल TCP/IP को सपोर्ट करता है जिसके कारण अन्य नेटवर्क इसे प्रयोग नहीं कर सकते (जैसे:-novell LAN).
4- यह डायनामिक IP address के allocation को सपोर्ट नहीं करता है.
5– यह authencation की सुविधा नहीं देता है जिसके कारण दोनों communication sites को पता नहीं चलता है कि वह किसके साथ communicate कर रहे हैं.
6- यह एक approved इन्टरनेट स्टैण्डर्ड नहीं है.
7- इसके द्वारा जब कोई डेटा पैकेट्स भेजा जाता है तो डेटा के अंत में end character भी भेजा जाता है. जिससे बैंडविड्थ waste हो जाता है.
SLIP vs PPP in hindi:-
SLIP की जगह आजकल PPP का प्रयोग किया जाता है क्योकि SLIP में बहुत सारी कमियां हैं.
तो चलिए पढते है इनके मध्य क्या diffrence है:-
1:- PPP में इसके initialiazation के समय इसकी कनेक्शन सेटिंग auto-configure हो जाती है. जबकि SLIP में सेटिंग को खुद configure करना पड़ता है.
2- PPP जो है वह error detection तथा डेटा पैकेट की recovery की सुविधा देता है. क्योकि कभी कभी डेटा पैकेट्स को ट्रांसमिट करते वक़्त वह नष्ट हो जाते है. तो PPP उन डेटा पैकेट्स का अपने आप recover कर देता है.
जबकि SLIP में error detection तथा डेटा पैकेट्स की recovery कि सुविधा नहीं है.
3- जब PPP के द्वारा डेटा पैकेट्स को भेजा जाता है तो प्रत्येक डेटा पैकेट्स के साथ header तथा अंत में padding information को भी भेजा जाता है.
जबकि SLIP में डेटा पैकेट्स के साथ end character को भेजा जाता है. जिससे बैंडविड्थ waste हो जाती है.
4- SLIP को केवल TCP/IP के साथ प्रयोग किया जा सकता है जबकि PPP को बहुत सारें प्रोटोकॉल के साथ प्रयोग किया जा सकता है.
5- SLIP केवल asynchronous डेटा ट्रांसमिशन को सपोर्ट करता है जबकि PPP, synchronous तथा asynchronous दोनों प्रकार के डेटा ट्रांसमिशन को सपोर्ट करता है.
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Hindi me notes bhut kam milte h…. Very easy language……thanks
Thanks ..for your help…
Thank you so much..
Achha content h..easy language h..
Very Helpful Sir.
Thank U.