Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग क्या है?

हेल्लो दोस्तों! आज हम इस आर्टिकल में (Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग क्या है?) के बारें में पढेंगे. इसे बहुत ही आसान भाषा में लिखा गया है. इसे आप पूरा पढ़िए, यह आपको आसानी से समझ में आ जायेगा. तो चलिए शुरू करते हैं:-

Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग क्या है?

Distributed computing एक ऐसी प्रक्रिया जिसमें कंप्यूटर की समस्या को कई भागों (parts) में बांट (divide) दिया जाता है और प्रत्येक समस्या को अलग अलग कंप्यूटर के द्वारा हल (solve) किया जाता है।

डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग एक ऐसी तकनीक है जिसमें बहुत सारें कंप्यूटर सिर्फ एक समस्या पर कार्य करते हैं। ये एक दूसरे की मदद से problem को solve करते हैं।

इसे सरल शब्दो में समझे तो “डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग बहुत सारें कंप्यूटरों का एक कलेक्शन है जो एक दूसरे को message -passing के द्वारा सूचना का आदान प्रदान करते हैं।”

Distributed Computing में यदि कंप्यूटर अगर पास पास होते है तो उन्हें LAN (लोकल एरिया नेटवर्क) की मदद से जोड़ा जाता है और यदि कंप्यूटर दूर होते है तो उन्हें WAN (वाइड एरिया नेटवर्क) में मदद से जोड़ा जाता है।

इस तकनीक का इस्तेमाल नेटवर्क में कई कंप्यूटर सर्वर को cluster में जोड़ने और डेटा को share करने के लिए किया जाता है।

इस तकनीक को distributed system भी कहा जाता है। इस तकनीक में कई प्रकार के सॉफ्टवेयर कॉम्पोनेन्ट शामिल होते है जो कंप्यूटर पर मौजूद होते है। डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग में जो कंप्यूटर होते है वह लोकल नेटवर्क से जुड़े होते है।

इसमें कई प्रकार के computers शामिल होते है जैसे :- मेनफ्रेम कंप्यूटर, पर्सनल कंप्यूटर, वर्कस्टेशन, मिनीकंप्यूटर आदि। इस तकनीक में यूजर आवश्यकता अनुसार कंप्यूटरों को जोड़कर उन्हें बढ़ा सकता है।

डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग एक सिस्टम भी है जिसमे छोटे कंप्यूटरों या मशीनों का उपयोग किया जाता है जिसके कारण यह सस्ता होता है। इस सिस्टम को vendor के द्वारा प्रदान किये गए हार्डवेयर में run किया जा सकता है।

यह विभिन्न प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम पर चल सकता है और कम्युनिकेशन प्रोटोकॉल का उपयोग करता है। यह सिस्टम इंटरमशीन संचार (intermachine communication) के लिए हार्डवेयर ईथरनेट, टोकन रिंग और TCP/IP का उपयोग करता है।

इसे भी पढ़े –

distributed computing in hindi

Features of Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग की विशेषताएं

इसकी विशेषताएं निम्नलिखित होती हैं।

1- Distributed computing में किसी भी हार्डवेयर, सॉफ्टवेयर या डेटा का इस्तेमाल किया जा सकता है।

2- यह सिस्टम की performance को बेहतर करता है।

3- यह इस बात की जानकारी देता है की सॉफ्टवेयर को कैसे विकसित (develop) और शेयर किया जाये।

4- डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग में मौजूद संसाधनों (resources) को बहुत सारें डिवाइसो में एक्सेस किया जा सकता है।

5- इसमें यदि हार्डवेयर या सॉफ्टवेयर में कोई खराबी आती है तो यह सिस्टम की performance को खराब नहीं होने देता।

6- यह एप्लीकेशन की जटीलता (complexity) को छुपाता है।

7- इस कंप्यूटिंग को expand (विस्तार) किया जा सकता है।

Types of Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग के प्रकार

इसके तीन प्रकार होते है:-

types of distributed computing in hindi

1- Cluster Computing (क्लस्टर कंप्यूटिंग)

क्लस्टर कंप्यूटिंग बहुत से जुड़े हुए कम्पूटरो का एक set है जिसमे सभी कंप्यूटर एक साथ काम करते है ताकि वह single entity के रूप में कार्य कर सके। इसमें जुड़े हुए सभी कंप्यूटर एक साथ किसी कार्य को perform करते है और उसे पूरा करते है। क्लस्टर कंप्यूटिंग में कंप्यूटर को जोड़ने के लिए LAN (लोकल एरिया नेटवर्क) का उपयोग किया जाता है।

Advantages of Cluster Computing

1- इसकी performance काफी अच्छी है।

2- इसे expand किया जा सकता है।

3- यह flexible है।

4- यह scalable है।

5- क्लस्टर कंप्यूटिंग आसानी से मिल जाता है।

Disadvantages of Cluster Computing

1- क्लाउड कंप्यूटिंग काफी महंगा है।

2- इसमें समस्याओ को ढूढ़ना मुश्किल है

3- इसे ज्यादा space की आवश्यकता पड़ती है।

2- Grid computing (ग्रिड कंप्यूटिंग)

ग्रिड कंप्यूटिंग एक प्रकार का सिस्टम है जिसे अक्सर कंप्यूटर सिस्टम के नेटवर्क के रूप में स्थापित (establish) किया जाता है। इसमें प्रत्येक सिस्टम अलग अलग administrative domain से संबंधित होता है। इस कंप्यूटिंग का इस्तेमाल अलग अलग बिज़नेस को आपस में जोड़ने के लिए किया जाता है। इसमें अलग अलग विभाग (department) के पास अलग अलग कंप्यूटर होता है जिसके कारण कंप्यूटर एक दूसरे के साथ कम्यूनिकेट कर पाते है।

Advantages of Grid Computing

1- यह कम समय में जटील (complex) और बड़ी समस्याओ को हल करने में सक्ष्म है।

2- इसमें दुसरे organization के साथ कम्यूनिकेट करना आसान है।

3- इसमें हार्डवेयर का उपयोग अच्छे से किया जा सकता है।

Disadvantages of Grid Computing

1- ग्रिड सॉफ्टवेयर अभी पूरी तरह से विकसित (develop) नहीं हुए है।

2- इसमें कंप्यूटर संसाधनों के बिच तेज़ कनेक्शन की आवश्यकता होती है।

3- Cloud Computing (क्लाउड कंप्यूटिंग)

क्लाउड कंप्यूटिंग एक ऐसी तकनीक है जिसमें data और program को इंटरनेट में स्टोर और एक्सेस किया जाता है। सरल शब्दो में कहे तो, क्लाउड कंप्यूटिंग एक तकनीक है जिसके द्वारा data या information को इन्टरनेट की सहायता से स्टोर, मैनेज और retrieve किया जाता है। इसमें इंटरनेट की होस्ट की गई सेवाएं (services) शामिल है।

Advantages of Cloud Computing

1- इसमें डेटा को स्टोर करना और उसका backup लेना आसान है।

2- इसमें जानकारी को शेयर करना आसान होता है।

3- क्लाउड कंप्यूटिंग में यूजर दुनिया के किसी कोने से जानकारी को एक्सेस कर सकता है।

4- इसमें उपयोग किये जाने वाले सॉफ्टवेयर और हार्डवेयर को मेन्टेन करना आसान है।

Disadvantages of Cloud Computing

1- इसमें यदि यूजर के पास अच्छा इंटरनेट कनेक्शन नहीं है तो डेटा और फाइलों को एक्सेस करना मुश्किल हो जाता है।

2- इसमें अपनी सेवाओं को एक customer से दुसरे customer के पास ट्रांसफर करने के लिए organization या कंपनी को कई समस्याओ का सामना करना पड़ता है।

3- क्लाउड कंप्यूटिंग सुरक्षा के मामले में अच्छा होता है लेकिन इसके बावजूद इसमें डेटा को ट्रांसफर करते वक़्त hackers डेटा की चोरी कर सकते है।

इसे भी पढ़े –

Advantages of Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग के फायदे

1- डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग की performance अच्छी होती है।

2- यह flexible (लचीला) होता है।

3- यह तेज गति से काम करता है।

4- यह विश्वसनीय (reliable) है।

5- इसमें सिस्टम को रिमोट लोकेशन में distribute किया जा सकता है।

6- इस कंप्यूटिंग सिस्टम की स्पीड काफी तेज होती है।

7- इसे expand करना आसान होता है।

Disadvantages of Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग की हानियां

1- इस समय डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग के लिए कोई सॉफ्टवेयर मौजूद नहीं है।

2- इस कंप्यूटिंग में सुरक्षा की कमी होती है।

3- यदि नेटवर्क में कोई खराबी आती है तो यूजर को डेटा एक्सेस करने में समस्या का सामना करना पड़ेगा।

4- यह programmers के लिए कठिन है।

5- यह काफी महगा है।

6- इस कंप्यूटिंग को implement (लागू) करना एक मुश्किल काम है।

Application of Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग के अनुप्रयोग

इसका इस्तेमाल निम्नलिखित जगहों पर किया जाता है।

1- इसका इस्तेमाल वातावरण (environment) को मैनेज करने के लिए किया जाता है।

2- यह society को सूचना (information) प्रदान करता है।

3- इसका इस्तेमाल ऑनलाइन बैंकिंग, इ-कॉमर्स वेबसाइट में किया जाता है।

4- इस कंप्यूटिंग का इस्तेमाल क्लाउड टेक्नोलॉजी में किया जाता है। जैसे :- (WS, Salesforce, Microsoft Azure)

5- इसका इस्तेमाल मनोरंजन जैसे (ऑनलाइन गेमिंग , यूट्यूब और म्यूजिक) के लिए भी किया जाता है।

6- डिस्ट्रिब्यूटेड कंप्यूटिंग का इस्तेमाल एजुकेशन सेक्टर में भी किया जाता है।

Exam में पूछे जाने वाले प्रश्न

डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग क्या है?

Distributed computing एक ऐसी प्रक्रिया जिसमें कंप्यूटर की समस्या को कई भागों (parts) में बांट (divide) दिया जाता है और प्रत्येक समस्या को अलग अलग कंप्यूटर के द्वारा हल (solve) किया जाता है।

डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग के कितने प्रकार होते है?

इसके तीन प्रकार होते है।

Reference:https://www.ibm.com/docs/en/txseries/8.2?topic=overview-what-is-distributed-computing

निवेदन:- अगर आपके लिए (Distributed Computing in Hindi – डिस्ट्रिब्यूटेड कम्प्यूटिंग क्या है?) का यह पोस्ट उपयोगी रहा हो तो इसे अपने दोस्तों के साथ अवश्य share कीजिये. और आपके जो भी questions हो उन्हें नीचे comment करके बताइए. धन्यवाद.

Leave a Comment